Rashtriya Krishi Vikas Yojana: सरकार द्वारा कृषि क्षेत्र के विकास के लिए विभिन्न प्रकार के प्रयास किए जाते हैं। ये प्रयास फसल में सुधार करने से लेकर किसानों को आर्थिक सहायता प्रदान करने तक होते हैं। राष्ट्रीय कृषि विकास योजना का शुभारंभ वर्ष 2007 में केंद्र सरकार द्वारा किया गया था। इस योजना के माध्यम से कृषि और संबंधित क्षेत्रों के समग्र विकास को सुनिश्चित किया जाता है। इसके तहत, राज्यों को अपनी कृषि और संबंधित क्षेत्रों की विकास गतिविधियों में चुनने की अनुमति प्रदान की जाती है।
यह लेख आपको Rashtriya Krishi Vikas Yojana के बारे में पूरी जानकारी प्रदान करेगा। इसके माध्यम से आप राष्ट्रीय कृषि विकास योजना 2023 के लाभ की पूरी प्रक्रिया को जान सकेंगे। इसके अलावा, आपको योजना के उद्देश्य, विशेषताएं, पात्रता, महत्वपूर्ण दस्तावेज, आवेदन प्रक्रिया आदि की भी जानकारी मिलेगी।
एक राष्ट्र, एक उर्वरक योजना
Rashtriya Krishi Vikas Yojana 2023
कृषि क्षेत्र के विकास के लिए केंद्र सरकार ने वर्ष 2007 में Rashtriya Krishi Vikas Yojana की शुरुआत की थी। इस योजना के माध्यम से कृषि और संबंधित क्षेत्रों में समग्र विकास को सुनिश्चित किया जाता है। इस योजना के तहत, राज्य और केंद्र शासित प्रदेश अपनी कृषि और संबंधित क्षेत्रों की विकास गतिविधियों को चुन सकते हैं। यह योजना 11वीं पंचवर्षीय योजना और 12वीं पंचवर्षीय योजना में लागू की गई है। 11वीं योजना के दौरान, राज्यों में 22,408.76 करोड़ रुपये का निधि जारी किया गया था और 5,768 परियोजनाओं को लागू किया गया था। 12वीं पंचवर्षीय योजना में, इस योजना के अंतर्गत 3,148.44 करोड़ रुपये का निधि जारी किया गया था और फसल विकास, बागवानी, कृषि मशीनरीकरण आदि के क्षेत्रों में 7,600 योजनाओं को लागू किया गया था।
2014-15 तक इस योजना को 100% केंद्रीय सहायता के साथ लागू किया जा रहा था। वर्ष 2015-16 से इस योजना के वित्तपोषण पैटर्न को केंद्र और राज्यों के बीच 60:40 के अनुपात में बांट दिया गया है। केंद्र शासित प्रदेशों के लिए इस योजना की फंडिंग पैटर्न 100% अनुदान है।
राष्ट्रीय कृषि विकास योजना का उद्देश्य
राष्ट्रीय कृषि विकास योजना का मुख्य उद्देश्य है कृषि और संबंधित क्षेत्रों का विकास करना। इसके द्वारा कृषि व्यवसाय की उद्यमिता को प्रोत्साहित किया जाएगा और कृषि मूलभूत संरचनाओं का निर्माण होगा। यह योजना गुणवत्तापूर्ण इनपुट, भंडारण, बाजार, सुविधाओं आदि के पहुंच को सुनिश्चित करने का माध्यम होगी। योजना को किसानों की आवश्यकताओं के आधार पर विकसित किया जाएगा और किसानों को आय की वृद्धि के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा। इस योजना के माध्यम से कृषि क्षेत्र का विकास होगा और किसानों की आर्थिक स्थिति में सुधार आएगा।
स्क्रीनिंग एवं अनुमोदन समिति
परियोजना प्रस्तावों का मूल्यांकन करने के लिए प्रत्येक राज्य द्वारा एक राज्य स्तरीय परियोजना स्क्रीनिंग समिति गठित की जाएगी। इस समिति का नेतृत्व कृषि उत्पादन आयुक्त या कोई अन्य नामित अधिकारी करेगा। इस समिति के अन्य सदस्यों की नियुक्ति राज्य के मुख्य सचिव द्वारा की जाएगी। स्क्रीनिंग कमेटी सभी परियोजना प्रस्तावों का आकलन करेगी।
सभी राज्यों द्वारा एक राज्य-स्तरीय स्वीकृति समिति की स्थापना की जाएगी, जिसके अध्यक्ष मुख्य सचिव होंगे। राज्य स्तरीय परियोजना स्क्रीनिंग कमेटी द्वारा परियोजना का मूल्यांकन करने के बाद, इसे राज्य स्तर पर स्वीकृति समिति को अनुमोदन के लिए प्रस्तुत किया जाएगा। यह कमेटी प्रोजेक्ट को मंजूरी देगी।
प्रधान मंत्री किसान निधि योजना
राष्ट्रीय कृषि विकास योजना की कार्यान्वयन रणनीतियाँ
राष्ट्रीय कृषि विकास योजना को प्रभावी ढंग से लागू करने के लिए, सरकार ने कई रणनीतियाँ तैयार की हैं, जिनमें शामिल हैं:
राज्य-विशिष्ट कार्य योजनाएं: यह योजना भारत के विभिन्न राज्यों में कृषि की विविधता को पहचानती है। इसलिए, यह राज्यों को उनकी विशिष्ट कृषि आवश्यकताओं और प्राथमिकताओं के अनुरूप उनकी विशिष्ट कार्य योजनाओं को विकसित करने के लिए प्रोत्साहित करता है।
लचीलापन और स्थानीय भागीदारी: RKVY निर्णय लेने की प्रक्रिया में किसानों और स्थानीय समुदायों की सक्रिय भागीदारी पर जोर देती है। यह उन्हें जमीनी स्तर पर योजनाओं की प्रभावशीलता और प्रासंगिकता सुनिश्चित करते हुए योजना, कार्यान्वयन और निगरानी गतिविधियों में सक्रिय रूप से भाग लेने की अनुमति देता है।
अन्य योजनाओं के साथ अभिसरण: यह योजना कृषि, ग्रामीण विकास और संबद्ध क्षेत्रों से संबंधित अन्य सरकारी योजनाओं और कार्यक्रमों के साथ अभिसरण को प्रोत्साहित करती है। यह संसाधनों का इष्टतम उपयोग सुनिश्चित करता है और आरकेवीवाई हस्तक्षेपों के प्रभाव को अधिकतम करता है।
निगरानी और मूल्यांकन: योजना की प्रगति और प्रभाव का आकलन करने के लिए प्रभावी निगरानी और मूल्यांकन तंत्र स्थापित किए गए हैं। नियमित समीक्षा और प्रतिक्रिया तंत्र समय पर सुधार को सक्षम बनाता है और यह सुनिश्चित करता है कि वांछित परिणाम प्राप्त किए गए हैं।
Rashtriya Krishi Vikas Yojana के लाभ तथा विशेषताएं
- केंद्र सरकार द्वारा वर्ष 2007 में राष्ट्रीय कृषि विकास योजना का शुभारंभ किया गया था।
- इस योजना के माध्यम से कृषि और संबंधित क्षेत्रों में समग्र विकास को सुनिश्चित किया जाएगा।
- जिसके लिए राज्य एवं केंद्र शासित प्रदेश अपनी कृषि और संबंधित क्षेत्र की विकास गतिविधियों को चुन सकेंगे।
- इस योजना को 11वीं पंचवर्षीय योजना एवं 12वीं पंचवर्षीय योजना में लागू किया गया था।
- 11वीं योजना के दौरान राज्यों में 22408.76 करोड़ रुपए जारी किए गए थे एवं 5768 परियोजनाओं को लागू किया गया था।
- 12वीं पंचवर्षीय योजना में इस योजना के अंतर्गत 3148.44 करोड़ रुपए जारी किए गए थे एवं फसल विकास, बागवानी, कृषि मशीनरीकरण आदि के क्षेत्रों में 7600 योजना को लागू किया गया था।
- 2014-15 तक इस योजना को 100% केंद्रीय सहायता के साथ लागू किया जा रहा था।
- 12वीं पंचवर्षीय योजना में इस योजना के अंतर्गत 3148.44 करोड़ रुपए जारी किए गए थे।
- इसके अंतर्गत फसल विकास, बागवानी, कृषि मशीनरीकरण आदि के क्षेत्रों में 7600 योजनाएं को लागू किया गया था।
- 2014-15 तक इस योजना को 100% केंद्रीय सहायता के साथ लागू किया जा रहा था।
- वर्ष 2015-16 से इस योजना के वित्तपोषण पैटर्न को केंद्र और राज्यों के बीच 60:40 के अनुपात में बांट दिया गया।
- केंद्र शासित प्रदेशों के लिए इस योजना का फंडिंग पैटर्न 100% अनुदान ही है।
Rashtriya Krishi Vikas Yojana प्रोजेक्ट रिपोर्ट
- प्रोजेक्ट के लिए राज्य और केंद्र सरकार द्वारा प्रदान किए गए फॉर्मेट का उपयोग करके रिपोर्ट तैयार की जाएगी।
- जो सभी प्रोजेक्ट बजट 25 करोड़ रुपया से अधिक होंगे, उनके लिए डीपीआर थर्ड पार्टी द्वारा कार्यवाही की जाएगी।
- इस योजना के तहत संचालित परियोजना, पहले से संचालित परियोजना की तरह नहीं होनी चाहिए। यानी यह नई परियोजना होनी चाहिए।
- डीपीआर द्वारा प्रत्येक प्रोजेक्ट में वार्षिक फिजिकल और फाइनल टारगेट प्रदान किए जाएंगे।
- इन प्रोजेक्ट रिपोर्ट को कृषि विभाग द्वारा स्टेट लेवल प्रोजेक्ट स्क्रीनिंग कमेटी को प्रस्तुत किया जाएगा।
- स्टेट लेवल स्क्रीनिंग कमेटी द्वारा प्रोजेक्ट के मूल्यांकन के बाद, स्टेट लेवल सैंक्शनिंग कमेटी को अनुमोदन के लिए रिपोर्ट प्रस्तुत की जाएगी।
राष्ट्रीय कृषि विकास योजना की फंडिंग
एसएलएससी (State Level Sanctioning Committee) द्वारा नई परियोजनाओं के कार्यान्वयन की मंजूरी देने के साथ-साथ चालू परियोजनाओं को जारी रखने और अनुमोदित परियोजनाओं की सूची तैयार करने के लिए वार्षिक आवंटन का 50% राज्यों को पहली किस्त के रूप में प्रदान किया जाएगा। अगर अनुमोदित परियोजना की कुल लागत वार्षिक परिव्यय से कम होती है, तो उसके लिए अनुमोदित परियोजना की लागत के 50% तक की धनराशि जारी की जाएगी।
इन शर्तों को पूरा करने के बाद, दूसरी और अंतिम किस्त की राशि को विचार किया जाएगा:
- पहली किस्त का 100% यूटिलाइजेशन सर्टिफिकेट
- पहली किस्त के अंतर्गत न्यूनतम 60% राशि का खर्च होना
- परफॉर्मेंस रिपोर्ट की जमा
- अगर राज्य समय पर आवश्यक दस्तावेज़ जमा नहीं करता है, तो दूसरी किस्त की राशि किसी अन्य राज्य को आवंटित की जाएगी।
नोडल विभाग द्वारा सुनिश्चित किया जाएगा कि सभी खाते सही ढंग से तैयार किए गए हों।
Rashtriya Krishi Vikas Yojana के अंतर्गत कृषि संबंधित विभाग
- क्रॉप हसबेंडरी
- हॉर्टिकल्चर
- एनिमल हसबेंडरी एंड फिशरीज
- डेयरी डेवलपमेंट
- एग्रीकल्चरल रिसर्च एंड एजुकेशन
- फॉरेस्ट्री एंड वाइल्डलाइफ
- प्लांटेशन एंड एग्रीकल्चरल मार्केटिंग
- फूड स्टोरेज एंड वेयरहाउसिंग
- सॉइल एंड वॉटर कंजर्वेशन
- एग्रीकल्चरल फाइनेंशियल इंस्टीट्यूशन
- अदर एग्रीकल्चरल प्रोग्राम एंड कोऑपरेशन
पात्रता
- देश के सभी राज्य इस योजना का लाभ प्राप्त कर सकते हैं। योजना के अंतर्गत, केंद्र सरकार द्वारा कुल खर्च की 60% राशि व्ययित की जाएगी और राज्य सरकार द्वारा कुल खर्च की 40% राशि व्ययित की जाएगी।
- उच्च पहाड़ी राज्यों और उत्तर पूर्वी राज्यों की स्थिति में, केंद्र सरकार द्वारा 90% राशि खर्च की जाएगी और राज्य सरकार द्वारा 10% राशि व्ययित की जाएगी।
- केंद्र शासित प्रदेशों के लिए, योजना के अंतर्गत कुल खर्च की 100% राशि केंद्र सरकार द्वारा व्ययित की जाएगी।
राज्य कृषि विकास योजना में आवेदन करने के लिए महत्वपूर्ण दस्तावेज
- आधार कार्ड
- निवास प्रमाण पत्र
- आय प्रमाण पत्र
- आयु का प्रमाण
- पासपोर्ट साइज फोटोग्राफ
- मोबाइल नंबर
- ईमेल आईडी आदि
राष्ट्रीय कृषि विकास योजना के अंतर्गत आवेदन करने की प्रक्रिया
- राष्ट्रीय कृषि विकास योजना की आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं।
- आपके सामने होम पेज खुल जाएगा।
- होम पेज पर “अभी आवेदन करें” विकल्प पर क्लिक करें।
- इसके बाद आपकी स्क्रीन पर एप्लीकेशन फॉर्म दिखाई देगा।
- आवेदन पत्र में पूछी गई सभी महत्वपूर्ण जानकारी भरें।
- सभी आवश्यक दस्तावेज अपलोड करें।
- फिर, “सबमिट” विकल्प पर क्लिक करें।
- इस तरह आप राष्ट्रीय कृषि विकास योजना के लिए आवेदन कर सकते हैं।